नक्सली बता ब्रह्मदेव सिंह की हत्या की हाई कोर्ट ने दोबारा जांच का दिया आदेश, कहा- परिजनों को पांच लाख मुआवजा भी दे सरकार

Ranchi: झारखंड हाई कोर्ट (Jharkhand High Court) ने लातेहार जिले में पुलिस मुठभेड में मारे गए ब्रह्मदेव सिंह की मौत की दोबारा जांच करने का निर्देश दिया है।

अदालत ने पुलिस की एक नयी टीम बना कर इसकी जांच करने एवं मृतक के परिजनों को पांच लाख रुपये मुआवजा देने का निर्देश दिया है।

जस्टिस एसके द्विवेदी की अदालत ने कहा कि इस मामले की जांच तीन माह में पूरी करते हुए जांच रिपोर्ट कोर्ट में प्रस्तुत किया जाए।

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वर्ष 2021 में लातेहार के पिरी जंगल में गोली लगने से ब्रह्मदेव सिंही की मौत हो गयी थी। ग्रामीणों और परिजनों का आरोप है कि पुलिस ने गोली मारकर हत्या की है।

ब्रह्मदेव सिंह की हत्या की निष्पक्ष जांच के लिए पत्नी पहुंची हाई कोर्ट

इस संबंध में मृतक की पत्नी जीरामणि देवी ने हाईकोर्ट में याचिका दायर की है। पत्नी ने पुलिस पर आरोप लगाया है कि ब्रह्मदेव को फर्जी नक्सली मुढभेड़ दिखा कर मार दिया गया है।

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ब्रह्मदेव सिंह सरहूल को लेकर जंगल में शिकार के लिए गया था। लेकिन पुलिस ने उसे नक्सली बता गोली मार कर हत्या कर दी।

अदालत से उन्होंने इस मामले की सीबीआई जांच कराने और दोषी पुलिसकर्मियों के खिलाफ कार्रवाई करने का आग्रह किया गया है।

सरकार की ओर से बताया गया कि घटना के दिन पुलिस के साथ नक्सली मुठभेड़ नहीं हुई थी। पुलिस लातेहार के पिरी जंगल में सर्च अभियान चला रहा थी।

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उसी दौरान कुछ युवकों ने पुलिस पर फायरिंग कर दी। पुलिस ने भी इसके बाद जवाबी फायरिंग की गयी। प्रार्थी की ओर से कहा गया कि मृतक ने कोई फायरिंग नहीं की थी। पुलिस ने उसे नक्सली बता हत्या कर दी है।

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