Court News: आरआईटी भवन को जर्जर बताकर खाली करने के आदेश पर हाईकोर्ट ने लगाई रोक
Ranchi: Court News झारखंड हाईकोर्ट ने कचहरी स्थित आरआईटी भवन को खाली करने के आरआरडीए के आदेश पर रोक लगा दी है। अदालत ने इस मामले में आरआरडीए और राज्य सरकार से विस्तृत जवाब मांगा है। इस मामले में जस्टिस राजेश शंकर की अदालत में सुनवाई हुई। सुनवाई के बाद अदालत ने आरआरडीए के भवन खाली करने का आदेश पर रोक लगा दी है।
अदालत ने इस मामले में अगली सुनवाई सात मार्च को निर्धारित की है। आरआरडीए के आदेश के खिलाफ शाप कीपर व शाप ओनर एसोसिएशन की ओर से हाईकोर्ट में याचिका दाखिल की गई है। सुनवाई के दौरान प्रार्थियों की ओर से अधिवक्ता अपराजिता भारद्वाज ने अदालत को बताया कि आरआरडीए ने 24 दिसंबर में एक पत्र जारी कर कहा कि आरआईटी भवन जर्जर हो गया है।
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पत्र में कहा गया है कि इस भवन में कभी भी दुर्घटना हो सकती है। इसलिए भवन में स्थित सभी दुकानों को 15 दिनों में खाली कर दिया जाए। आरआरडीओ की ओर से ऐसा पत्र जारी करने से पहले न तो दुकानदारों को कोई नोटिस दिया गया था और न उक्त भवन की जांच की गई थी। पत्र में सिर्फ भवन निर्माण विभाग के एक आदेश का हवाला दिया गया, जिसकी जानकारी भी प्रार्थियों को नहीं दी गई है।
इसके अलावा सरकार उन प्रक्रियाओं का भी पालन नहीं किया गया है, जिसके तहत किसी भवन को जर्जर अथवा असुरक्षित घोषित किया जाता है। इस भवन में स्थित दुकानदारों को कभी रेंट के नाम पर तो कभी जर्जर भवन होने की बात कहते हुए परेशान किया जा रहा है। जो उचित नहीं है। प्रार्थी की ओर से आरआरडीए के आदेश पर रोक लगाने का आग्रह किया गया।
इस दौरान आरआरडीए ने कहा कि आरआईटी भवन असुरक्षित है और संभावित दुर्घटना को देखते हुए ऐसा आदेश निर्गत किया गया है। इसके लिए सभी प्रक्रिया का पालन किया गया है और भवन निर्माण के एक आदेश का हवाला दिया गया है। इसलिए आदेश कानूनी रूप से सही है। सुनवाई के बाद अदालत ने आरआरडीए के आदेश पर अगले आदेश तक रोक लगा दी।
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