डीजीपी तक को भेजा पत्र, वारंट भी हुआ जारी, गवाही के अभाव में आरोपी बरी
डकैती से जुड़े सिर्फ तीन साल पुराने मामले को साबित करने अदालत एक भी गवाह नहीं पहुंचा। पुलिस की लापरवाही के कारण एक और आरोपी को अदालत ने निर्दोष बताते हुए रिहा कर दिया है।
ट्रायल के दौरान अदालत ने मामले के जांच अधिकारी, सूचक समेत चार्जशीटेड अन्य गवाहों को कई बार बुलाया। जब नहीं पहुंचा तो अदालत ने संबधित थाने (सदर थाना), एसएसपी एवं डीजीपी तक गवाहों को लाने के बारे सूचना दी। सबसे पहले तो अदालत ने गवाहों के खिलाफ गिरफ्तार वारंट जारी किया। इसके बाद एसएसपी रांची से लेकर डीजीपी तक को लिखा।
अपर न्यायायुक्त संजीव झा की अदालत ने अभियोजन पक्ष को डकैती का केस साबित करने का काफी मौका दिया। लेकिन कई कोशिशों के बाद जब गवाह नहीं पहुंचा तो ट्रायल फेस कर रहा आरोपी बरियातू थाना के सतार कॉलोनी निवासी जाफर खान(35) को रिहा कर दिया।
घटना को लेकर बड़गाई तालाब मोहल्ला निवासी अजमल हुसैन ने 17 अगस्त 2021 को सदर थाना में कांड संख्या 380/2021 के तहत प्राथमिकी दर्ज कराई थी। अजमल के साथ घटना 9 अगस्त 2021 को घटी थी। जब वह अपने बेटे के साथ दवा लेकर रात 11.30 बजे घर लौट रहा था।
इस दौरान बड़गाई चौक के निकट तीन टेम्पो सवार ने लूटपाट की और मारकर जख्मी कर दिया था। घटना में उसका पैर टूट गया था। घटना को सही पाते हुए जांच अधिकारी एसआई विकास कुमार ने 30 जनवरी 2022 को जाफर खान के खिलाफ चार्जशीट दाखिल की थी। पुलिस ने डकैती के आरोप में जाफर खान को 13 दिसंबर 2021 को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया था। दो महीने से अधिक जेल में रहने के बाद जमानत मिली थी। ढाई साल बाद उसे अदालत ने साक्ष्य के अभाव में दोषमुक्त किया।