Compensation: मध्यस्थता केंद्र रांची में बुधवार 26 जून को 28 साल पुराने लंबित मामले को सफलता पूर्वक सुलझा लिया गया है। प्रथम पक्ष कन्हाई साहू एवं द्वितीय पक्ष प्रमिला देवी, शिशुपाल शर्मा एवं दुर्गा कुमारी के बीच में अधिवक्ता मध्यस्थ मनीषा रानी एवं अधिवक्ता रामनारायण साहू की अहम भूमिका से दोनों पक्षों के बीच ढाई दशक पुराने केस में सुलह संभव हो सका।
झारखण्ड हाईकोर्ट के न्यायाधीश सह झालसा के कार्यकारी अध्यक्ष जस्टिस सुजित नारायण प्रसाद के दिशा-निर्देश तथा न्यायायुक्त-सह-अध्यक्ष डालसा, रांची के मार्गदर्शन में सुप्रीम कोर्ट में लंबित वाद संख्या SLP(Crl) 26658/2019 को मध्यस्थता केंद्र रांची के मध्यस्थ ने सुलह कराया। जानकारी हो कि सुप्रीम कोर्ट में 29 जुलाई से तीन अगस्त तक विशेष लोक अदालत का आयोजन किया जा रहा है। इसी के तहत पुराने लंबित वादों में सुलह कराने की कोशिश जारी है।
साल 1996 में प्रमिला देवी की पति की सड़क हादसे में हो गई मौत
यहां बता दें कि साल 1996 में ट्रक और कार की टक्कर में प्रमिला देवी के पति का निधन हो गया था। उस समय उनके बच्चे बहुत छोटे थे। प्रमिला देवी के द्वारा एमएसीटी लोहरदगा में कंपेनसेशन वाद संख्या 180/1996 दायर की गयी थी। जिसमें साल 2005 में आदेश हुआ। जिसमें वाहन मालिक कन्हाई साहू के द्वारा प्रमिला देवी एवं उनके बच्चों को कंपेनसेशन देने का आदेश पारित किया गया था।
आदेश की चुनौती कन्हाई साहू ने उच्च न्यायालय के समक्ष प्रस्तुत किये। सुनवाई के पश्चात उक्त वाद में निचली अदालत का आदेश को मान्य किया गया। इसके बाद पुनः इसकी चुनौती उच्चतम न्यायालय में उपरोक्त वाद को प्रस्तुत किये थे।मध्यस्थता में दोनों पक्षों के बीच कई बैठकों के बाद मध्यस्थ के सहयोग से दोनों पक्षों के बीच सुलह हुआ और साहु के द्वारा प्रमिला देवी एवं उनके बच्चों को उचित राशि प्रदान की गयी। इसके बाद दोनों ही पक्ष भविष्य में किसी भी वाद को लड़ना नहीं चाहते है।
इस प्रकार 28 वर्ष पुराना वाद का निष्पादन मध्यस्थता के माध्यम से अधिवक्ता मध्यस्थ मनिषा रानी के द्वारा किया गया।
सुलह होने पर पीओ एमएसीटी, मनीष, अतिरिक्त प्रधान न्यायाधीश, कुटुम्ब न्यायालय-2, राजेश कुमार सिंह एवं डालसा प्रभारी सचिव, राकेश रंजन ने भी दोनों पक्षों को बधाई दी।