Ranchi: झारखंड हाई कोर्ट के जस्टिस आनंद सेन की पीठ में जेएसएमडीसी के कर्मियों के बकाया भुगतान नहीं करने के खिलाफ दाखिल अवमानना याचिका पर शुक्रवार को सुनवाई हुई। सुनवाई के बाद अदालत ने आदेश का पालन नहीं करने पर
कड़ी नाराजगी जताई। अदालत ने जेएसएमडीसी के प्रबंध निदेशक राहुल सिन्हा पर आरोप गठित करने के लिए कोर्ट में
उपस्थित होने का आदेश दिया है। मामले में अगली सुनवाई 28 फरवरी को होगी। इस संबंध में जितेंद्र कुमार यादव सहित अन्य की ओर से हाई कोर्ट में अवमानना याचिका दाखिल की गई है। सुनवाई के दौरान प्रार्थियों की ओर से अधिवक्ता पांडेय नीरज राय की ओर से अदालत को बताया गया कि जेएसएमडीसीमें संविदा पर कार्यरत कर्मियों को वर्ष 2012 में नियमित कर दिया गया।
लेकिन उन्हें नियमितीकरण का लाभ नहीं दिया गया। उनकी ओर से हाई कोर्ट में याचिका दाखिल की गई थी, तो कोर्ट ने 2022 में सभी कर्मियों को आठ सप्ताह में बकाया भुगतान करने का आदेश देते हुए याचिका निष्पादित कर दी।
जब आदेश का पालन नहीं किया गया तो कोर्ट में अवमानना याचिका दाखिल की गई। पूर्व में सुनवाई के दौरान जेएसएमडीसी की ओर से बकाया भुगतान करने की अंडरटेकिंग दी गई। लेकिन फिर भी आदेश का पालन नहीं किया गया। इस मामले में अदालत ने पूर्व में जेएसएमडीसी के एमडी राहुल सिन्हा को कोर्ट में उपस्थित होने का आदेश दिया। अक्टूबर 2024 में कोर्ट में उपस्थित होकर राहुल सिन्हा ने बकाया लाभ देने की बात कही। लेकिन उनकी ओर से एक आदेश निकालकर कहा गया कि वैसे कर्मियों को ही इसका लाभ मिलेगा, जो अपने आप को संविदाकर्मी होने का शपथ पत्र देंगे। प्रमाण पत्रों की जांच की बात कहते हुए मामले को लटकाया जा रहा है। जबकि पूर्व में कोर्ट ने कहा था कि प्रमाण पत्रों की जांच की जाए, लेकिन अभी सभी कर्मियों के बकाया का भुगतान कर दिया जाए। यह पूरी तरह से कोर्ट के कई आदेशों का उल्लंघन है, जो अवमानना का मामला चलाने के लिए उपयुक्त है। इस पर अदालत ने एमडी राहुल सिन्हा पर आरोप तय करने के लिए कोर्ट में 28 फरवरी को उपस्थित होने का आदेश दिया है।