रांची। झारखंड हाईकोर्ट के जस्टिस संजय कुमार द्विवेदी की अदालत में व्याख्याता नियुक्ति याचिका पर सुनवाई करते हुए जेपीएससी और राज्य सरकार से जवाब मांगा है। अदालत ने इस मामले में अगली सुनवाई के लिए 14 दिसंबर की तिथि निर्धारित की है। सुनवाई के दौरान प्रार्थी की ओर से अदालत को बताया गया कि व्याख्याताओं की बैक लॉग नियुक्ति के लिए जेपीएससी ने विज्ञापन निकाला गया था। उन्होंने भी आवेदन दिया था और उनकी डिग्री भी विज्ञापन में दिए गए योग्यता के समकक्ष है।
इसे भी पढ़ेंः Terror Funding Case: टेरर फंडिंग के आरोपी अमित, महेश व विनीत अग्रवाल को राहत बरकरार
लेकिन आयोग की ओर से उनके आवेदन पर विचार नहीं किया गया है। इसके बाद जेपीएससी के अधिवक्ता संजय पिपरवाल व प्रिंस कुमार सिंह ने अदालत को बताया कि डिग्री समकक्ष होने का सत्यापन करना सरकार और विश्वविद्यालय का है। इसमें जेपीएससी की कोई भूमिका नहीं होती है। लेकिन प्रार्थी की ओर से इस मामले में विश्वविद्यालय को प्रतिवादी भी नहीं बनाया गया है। सुनवाई के बाद अदालत ने राज्य सरकार और जेपीएससी से जवाब मांगा है। इसको लेकर शुभम कुजूर ने याचिका दाखिल की है।
जेएसएससी सचिव के यहां दें आवेदन
झारखंड हाईकोर्ट के जस्टिस संजय कुमार द्विवेदी की अदालत में हाई स्कूल शिक्षक नियुक्ति मामले में दाखिल याचिका पर सुनवाई हुई। जेएसएससी के जवाब के बाद अदालत ने प्रार्थी को जेएसएससी के सचिव के यहां आवेदन देने का निर्देश दिया। अदालत ने आयोग के सचिव प्रार्थी के आवेदन पर आठ सप्ताह में उचित निर्णय लेने का निर्देश दिया है। इसके बाद याचिका को निष्पादित कर दिया। इसको लेकर श्याम सुंदर यादव ने हाईकोर्ट में याचिका दाखिल की गई थी।
सुनवाई के दौरान जेएसएससी के अधिवक्ता संजय पिपरवाल ने कहा कि प्रार्थी गैर अधिसूचित जिले बोकारो में आवेदन दिया है। सोनी कुमारी मामले में अदालत ने अपना फैसला दिया है। इसके बाद अब गैर अधिसूचित जिलों में जल्द ही नियुक्ति प्रक्रिया प्रारंभ कर दी जाएगी। इसके बाद अदालत ने प्रार्थी को आयोग में आवेदन देने का निर्देश दिया। इसी अदालत में शारीरिक शिक्षक नियुक्ति मामले में सुनवाई करते हुए अदालत ने जेएसएससी और सरकार से जवाब मांगा है। मामले में अगली सुनवाई 16 दिसंबर को होगी। इस संबंध में मुकेश रंजन ने हाई कोर्ट में याचिका दाखिल की है।