ऑनर किलिंगः कोडरमा कोर्ट ने इस मामले में मां-बाप सहित चार को सुनाई फांसी की सजा

कोडरमा: कोडरमा के जिला जज-प्रथम ने ऑनर किलिंग से जुड़े एक मामले में मां-बाप सहित चार लोगों को दोषी करार देते हुए फांसी की सजा सुनाई है। इस मामले में 15 मार्च को सुनवाई पूरी होने के बाद अदालत ने चारो अभियुक्तों को दोषी करार दिया गया था। अंतरजातीय प्रेम प्रसंग एक मामले युवती की हत्या का मामला है।

अदालत ने वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिए चारों दोषियों को फांसी की सजा सुनाई गई। सभी अभियुक्त कोडरमा मंडल कारा में बंद हैं। चंदवारा थाना क्षेत्र के मदनगुंडी निवासी किशुन साव की पुत्री सोनी कुमारी (20 वर्ष) दूसरे जाति के एक युवक से प्यार करती थी और शादी करना चाहती थी।

लेकिन युवती के माता-पिता शादी को लेकर राजी नहीं हुए। बाद में सोनी अपने प्रेमी के साथ घर से भाग गई। करीब 15 दिन बाद सोनी के पिता किशुन साव ने अपनी पुत्री को उसके प्रेमी के साथ शादी कराने का झांसा देते हुए फोन कर बुलाया। इसके बाद युवती घर वापस लौट आई।

इसे भी पढ़ेंः कॉलेजियम की सिफारिशों पर सरकार के देरी से निर्णय लेने पर सुप्रीम कोर्ट ने जताई चिंता

इस दौरान सोनी को उसके माता पिता ने अंतरजातीय विवाह नहीं करने को लेकर लाख समझाया लेकिन सोनी कुमारी नहीं मानी और वह उसी लड़के से शादी करने पर अड़ी रही। इसके बाद पिता किशन साहू, माता दुलारी देवी, चाचा सीताराम साहू, चाची पार्वती देवी ने के द्वारा 25 अगस्त 2018 की रात सोनी कुमारी का गला दबाकर हत्या कर दी।

सुबह बिना देर किए श्मशान घाट ले जाकर जलाने का प्रयास कर ही रहे थे कि इसकी सूचना पुलिस को मिल गई। इसके बाद चंदवारा पुलिस ने घटनास्थल पर पहुंचकर शव को अपने कब्जे में लिया। इसके बाद शव का अंत्यपरीक्षण कराया गया। इस दौरान घटनास्थल से कुल्हाड़ी व केरोसिन तेल बरामद किया गया।

सेशन ट्रायल संख्या 89/2018 और चंदवारा थाना कांड संख्या 22/2018 में सुनवाई के बाद न्यायालय ने चारो अभियुक्तों को दोषी पाते हुए फांसी की सजा सुनाई है। इस दौरान कुल 16 गवाहों का परीक्षण किया गया। मामले में गिरफ्तारी के बाद से सभी अभियुक्त कोडरमा मंडल कारा में हैं।

फांसी पर मुहर लगाने के लिए हाई कोर्ट जाएगा मामला
ऑनर किलिंग मामले में कोडरमा कोर्ट ने मां-बाप सहित चार लोगों को फांसी की सजा सुनाई है। अब इस मामले में सरकार की ओर से हाई कोर्ट में डेथ रेफरेंस याचिका दाखिल की जाएगी। इस मामले में फांसी सजा को बरकरार रखेगी या फिर इसे आजीवन कारावास में बदला जाएगा, यह हाई कोर्ट में सुनवाई के बाद तय हो पाएगा।

Rate this post
Share it:

Leave a Comment